कुछ कर गुजरने की ठान रख, मन में पूरा दृढ विश्वाश रख,
बाधाएँ मुश्किलें आती रहेंगी, खुद को निश्चय में अडिग रख!
पूर्ण विजय का अहसास रख, चुहूं ओर खुद को सचेत रख,
जिंदगी है एक कठिन रणभूमि, आत्मरक्षा को आत्मसात रख!
खुद के भविष्य पर नजर रख, हर आहट की पहचान रख,
राह जिंदगी की नहीं आसान, सुग्रीव की तरह कदम रख!
सही गलत का तू भान रख, अन्याय के विरुद्ध आवाज़ रख,
झूठ फरेब की इस दुनियां में, सत्य की आवाज़ बुलंद रख!
हर गुजरते वक़्त की कद्र रख, खुद की खता का हिसाब रख,
हर कर्म फल के परिणाम का, खुद को हर वक़्त तैयार रख!
बुरे समय को तू याद रख, हुए नुकसान की भरपाई रख,
हानि लाभ जीवन का हिस्सा, खुद का हिसाब साफ रख!
अपनी बातों हर में वजन रख, जियो और जीने की सोच रख,
जीवन जीना भी है एक वीरता, तू खुद में अदम्य साहस रख!
प्राण जाए पर वचन रख, शर शय्या के लिए तैयार रख,
जीवन का रस है वीर रस, हर वक्त खुद को सदा तैयार रख!
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